प्रदेश में रिवर्स पलायन की नब्ज टटोलेगी सरकार, पहली बार आयोग कर रहा है सर्वे
पलायन आयोग की ओर से रिवर्स पलायन पर विस्तृत सर्वे किया जा रहा है। जिसमें गांव में ठहरने वाले प्रवासियों की संख्या, उनके माध्यम से शुरू किए गए उद्यमिता व स्वरोजगार, सरकारी योजनाओं का लाभ व कारोबार से फायदा समेत अन्य मुद्दों पर रिपोर्ट तैयार होगी।
कोरोना काल के बाद प्रदेश में हुए रिवर्स पलायन की सरकार नब्ज टटोलेगी। इसके लिए पहली बार ग्राम्य विकास एवं पलायन निवारण आयोग सभी जिलों में रिवर्स पलायन पर सर्वे कर रहा है। इसमें देश दुनिया से लौटे प्रवासी उत्तराखंडियों की स्थिति और अपने गांव में शुरू किए गए स्वरोजगार, कामयाबी का डाटा एकत्रित किया जाएगा। दो माह के भीतर आयोग सर्वे रिपोर्ट सरकार को सौंपेगी।
प्रदेश के पर्वतीय क्षेत्रों से तेजी से हो रहे पलायन की समस्या का समाधान के लिए सरकार ने 2017 में राज्य पलायन आयोग का गठन किया। आयोग ने सबसे पहले पौड़ी जिले में पलायन पर सर्वे किया। जिसमें पलायन पर चौंकाने वाले तथ्य सामने आए। कई गांवों में आबादी न होने से विरान मिले।
इसके बाद आयोग ने पिथौरागढ़, टिहरी, चंपावत, ऊधमसिंह नगर, चमोली, हरिद्वार, बागेश्वर, उत्तरकाशी, देहरादून, रुद्रप्रयाग, नैनीताल, अल्मोड़ा जिले में पलायन पर सर्वे किया। कोरोना महामारी में लॉकडाउन से देश दुनिया में बड़ी संख्या में प्रवासी उत्तराखंडी अपने गांव लौटे।
दो माह के भीतर सर्वे रिपोर्ट सरकार को सौंपी जाएगी
प्रदेश सरकार ने प्रवासी उत्तराखंडी अपने गांव में ही रुकें इसके लिए स्वरोजगार की योजना शुरू कर सब्सिडी का लाभ दिया। इसमें कई प्रवासी उत्तराखंडियों ने अपने गांव में अनुभव के आधार पर स्वरोजगार को अपनाया। अब पलायन आयोग की ओर से रिवर्स पलायन पर विस्तृत सर्वे किया जा रहा है। जिसमें गांव में ठहरने वाले प्रवासियों की संख्या, उनके माध्यम से शुरू किए गए उद्यमिता व स्वरोजगार, सरकारी योजनाओं का लाभ व कारोबार से फायदा समेत अन्य मुद्दों पर रिपोर्ट तैयार होगी।
प्रदेश में रिवर्स पलायन पर सर्वे का काम चल रहा है। दो माह के भीतर सर्वे रिपोर्ट सरकार को सौंपी जाएगी। सर्वे में गांव लौट प्रवासी उत्तराखंडियों के माध्यम से कौन सा रोजगार अपनाया गया है। उसकी क्या स्थिति है। इसके अलावा स्वरोजगार में किस तरह की चुनौतियां आ रही है। इस पर विस्तृत रिपोर्ट तैयार की जाएगी।- डाॅ. शरद सिंह नेगी, उपाध्यक्ष, पलायन आयोग
दो हजार लोगों ने अपनाया स्वरोजगार
देश-विदेश में काम धंधे के लिए पलायन करने वाले दो हजार प्रवासियों ने वापस अपने गांव लौट कर स्वरोजगार को अपनाया। इसमें कृषि, पशुपालन, पर्यटन, होम स्टे, बागवानी और अन्य क्षेत्रों स्वरोजगार से अच्छा लाभ कमा रहे हैं। लेकिन सर्वे में हर गांव स्तर पर रिवर्स पलायन की स्थिति सामने लाया जाएगा

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