उत्तराखंड के बॉर्डर एरिया में हाईवे सहित 31 सड़कों पर थमी रफ्तार, संपर्कविहीन गांवों में बढ़ी दुश्वारी
पिथौरागढ़ जिले में लगातार बारिश और बर्फबारी से जनजीवन प्रभावित है। टनकपुर-तवाघाट राष्ट्रीय राजमार्ग समेत 31 सड़कें बंद होने से चीन सीमा से संपर्क टूट गया है। एलागाड़ में सड़क खोलना मुश्किल हो रहा है। सीमावर्ती गांवों में आवाजाही ठप है जिससे लगभग डेढ़ लाख लोग प्रभावित हैं और आवश्यक वस्तुओं की किल्लत हो रही है। पहली बार सितंबर में हंसलिंग चोटी पर भारी हिमपात हुआ है।
जिले में लगातार बारिश और ऊपरी इलाकों में बर्फबारी से जनजीवन बुरी तरह प्रभावित हो गया है। टनकपुर-तवाघाट राष्ट्रीय राजमार्ग समेत कुल 31 सड़कें बंद हैं, जिससे चीन सीमा से संपर्क नौवें दिन भी बहाल नहीं हो सका है। विशेष रूप से एलागाड़ में सड़क खोलना बीआरओ के लिए एक बड़ी चुनौती बन गया है।
धारचूला से तवाघाट के बीच यह प्रमुख मार्ग चार स्थानों पर अवरुद्ध है, जिसमें एलागाड़ में हुए भारी भूस्खलन ने स्थिति को और विकट बना दिया है। यहां धौलीगंगा पावर प्लांट के कर्मचारियों को भी फंसे रहना पड़ा था। तवाघाट-लिपुलेख और सोबला-दारमा मार्ग भी कई हिस्सों में बंद पड़े हैं, जिससे सीमावर्ती और उच्च हिमालयी गांवों से आवाजाही पूरी तरह से ठप है।
इन क्षेत्रों की लगभग डेढ़ लाख की आबादी प्रभावित हो चुकी है और आवश्यक वस्तुओं की किल्लत शुरू हो गई है। प्रधानमंत्री ग्रामीण सड़क योजना के तहत बनीं धारचूला की सात सड़कें भी शुक्रवार तक नहीं खुल सकीं, जिससे ग्रामीण गांवों में ही कैद होकर रह गए हैं।
इधर, मुनस्यारी क्षेत्र से मिली जानकारी के अनुसार पहली बार सितंबर में हंसलिंग चोटी पर भारी हिमपात दर्ज किया गया है, जिससे रास्तों पर बर्फ की मोटी परत जम गई है। गुरुवार रात जिलेभर में फिर से वर्षा हुई, जिससे हालात और बिगड़ गए हैं।

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