कफ सिरप को लेकर सख्ती, उपयोग पर जारी एडवाइजरी को जिलों में सख्ती से लागू करने के आदेश
स्वास्थ्य सचिव ने सभी जिलों को निर्देश दिए हैं कि औषधि निरीक्षक चरणबद्ध तरीके से कफ सिरप के नमूने एकत्र कर प्रयोगशाला जांच कराएं।
स्वास्थ्य सचिव डॉ. आर. राजेश कुमार ने केंद्र सरकार की ओर से बच्चों को कफ सिरप के उपयोग पर जारी एडवाइजरी को सख्ती से लागू करने के आदेश जारी किए। सभी जिलों के डीएम व सीएमओ को कफ सिरप उपयोग पर कार्रवाई करने के निर्देश दिए हैं।
डॉ. राजेश कुमार ने कहा, दो वर्ष से कम आयु के बच्चों को किसी भी प्रकार की खांसी या जुकाम की दवा नहीं दी जानी चाहिए। पांच वर्ष से कम उम्र के बच्चों में इन दवाओं का सामान्य उपयोग की अनुशंसा नहीं की जाती है। केवल विशेषज्ञ चिकित्सक की सलाह, सही खुराक और न्यूनतम अवधि के लिए ही इनका उपयोग किया जा सकता है। अधिकांश मामलों में बच्चों की खांसी और जुकाम की समस्या स्वतः ठीक हो जाती है। इसलिए आवश्यक है कि चिकित्सक इन दवाओं के अनावश्यक प्रयोग से बचें।
स्वास्थ्य सचिव ने सभी जिलों को निर्देश दिए हैं कि औषधि निरीक्षक चरणबद्ध तरीके से कफ सिरप के नमूने एकत्र कर प्रयोगशाला जांच कराएं। दोषपूर्ण या हानिकारक दवाओं को बाजार से तुरंत हटाया जाए। सभी डॉक्टर व औषधि विक्रेता केंद्र की एडवाइजरी का पालन करें।
उन्होंने स्वास्थ्य, सरकारी अस्पतालों, प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों और निजी चिकित्सा संस्थानों को निर्देश दिए कि केवल गुड मेन्युफैक्चरिंग प्रैक्टिस(जीएमपी) के अनुरूप निर्मित औषधियों की ही खरीद व वितरण करें। उन्होंने लोगों से अपील की है बच्चों को किसी भी प्रकार की खांसी या जुकाम की दवा देने से पहले डॉक्टर की सलाह अवश्य लें।

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